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11 जून 2011

मरहूम सय्यद अमीर अली रिज़वी की 26 वीं बरसी

कल 9 रजब को हमारे दादा मरहूम सय्यद अमीर अली रिज़वी की 26 वीं बरसी है. मरहूम का इन्तेकाल 1985 में तकरीबन 95 साल की उम्र में करारी में हुआ था. मरहूम इलाहाबाद और करारी परगना के अतराफ में अपने दौर के जाने माने मर्सिया खाँ थे. अक्रबा परवरी की एक मिसाल से. 
कर्बला की जियारत का भी शरफ हासिल किया था. उनके दौर में इमाम हुसैन (अ.स.) की जियारत के लिए जाना नहीं था, पानी के जहाज़ से बसरा (इराक) सफ़र किया जाता था और वहां से रेल से कर्बला जाना पड़ता था. 
अल्लाह तआला मरहूम का शुमार अहलेबैत (अ.स.) के चाहने वालों में करे. एक सुरह फातेहा की दरख्वास्त है.
मरहूम अमीर अली की 26 वीं बरसी पर बम्बई में उनकी तीसरी, चौथी और पांचवीं नस्ल फातेहा देते हुए.

06 जुलाई 2009

हमारी फूफी का इन्तेकाल हो गया .





निहायत ही अफ़सोस के साथ यह ख़बर दी जा रही है की हमारी फुफी अनीस फातेमा (बन्नी) का आज सुबह नौ बजकर तीस मिनट पर करारी में इन्तेकाल हो गया है, एक अरसे से वो बीमार थीं । तदफीन आज शाम को वादिस सलाम में होगी । आप लोगों से गुज़ारिश है की नमाजे मग़रिब और ईशा के दरमियान मरहूमा के लिए नमाजे वहशत पढ़ें । अनीस फातेमा बिन्ते अमीर अली ।
नमाजे वहशत किस तरह पढ़ें ?
दो रकत नमाज़े वहशत : नमाजे सुबह की तरह। नीय्यत : नमाज़े वहशत, मरहूम या मरहूमा का नाम । पहली रकत में सूरह अल हम्द के बाद एक बार आयतल कुर्सी पढ़ें , दूसरी रकत में सूरह अल हम्द के बाद सूरह कद्र (इन्ना अन्ज़लना) पढ़ें ।

12 जुलाई 2008

Barsi of Marhum Sayed Amir Ali Rizvi



Today is the Barsi of marhum Sayed Amir Ali Rizvi father of marhum Sayed Ghulam Hasnain Rizvi Kararvi. Marhum passed away in 1985. Today his fateha was held at Rizvi House, Bandra, Bombay. You are requested to please recite one for him.

Razi